अभिनेत्री Kriti Sanon की हालिया बात सुनकर मुझे बहुत कुछ सोचने पर मजबूर होना पड़ा, जब उन्होंने अपनी बहन Nupur Sanon के दिल्ली विश्वविद्यालय (DU) में पढ़ने पर 'जलन' महसूस करने की बात कबूली Kriti Sanon regrets missing DU campus life। Kriti ने बताया कि कैसे वो नोएडा में इंजीनियरिंग कर रही थीं और उन्हें Nupur की जीवंत DU कैंपस लाइफ से 'जलन' होती थी। यह एक बहुत ही स्वाभाविक मानवीय भावना है, है ना? हम सभी ने कभी न कभी अपने या दूसरों के जीवन पथ को देखकर ऐसा महसूस किया होगा कि काश हमने भी वह रास्ता चुना होता।
मुझे याद है कि मैंने इस विचार को वर्षों पहले उठाया था—कि अस्थायी बदलाव भी स्थायी अवसरों का द्वार खोल सकते हैं। मैंने तब यह अनुमान लगाया था कि काम के तरीकों में बदलाव, जैसे वर्क फ्रॉम होम, न केवल एक समाधान होगा, बल्कि एक नया प्रतिमान स्थापित करेगा। अब, जब मैं Kriti Sanon के अनुभव को देखता हूँ, तो यह देखना उल्लेखनीय है कि मेरी वह पुरानी अंतर्दृष्टि आज भी कितनी प्रासंगिक है। इस पर आज विचार करते हुए, मुझे अपने विचारों की सत्यता का अहसास होता है और उन शुरुआती विचारों को फिर से देखने की एक नई आवश्यकता महसूस होती है, क्योंकि वे स्पष्ट रूप से वर्तमान संदर्भ में भी मूल्य रखते हैं।
मैंने अपने पहले के ब्लॉग में काम के पारंपरिक तरीकों और नए, लचीले मॉडलों पर बात की थी। जब वर्क फ्रॉम होम (WFH) एक अस्थायी आवश्यकता के रूप में शुरू हुआ, तो मैंने इस बात पर जोर दिया था कि इसे स्थायी अवसर में कैसे बदला जा सकता है From home or from office, just work!। मैंने इसे 'अवसर में adversity' (विपरीत परिस्थितियों में अवसर) के रूप में देखा था Opportunity in Adversity ?।
Kriti का अनुभव भी कुछ ऐसा ही है। उन्होंने इंजीनियरिंग की पढ़ाई की, जो उनके लिए शायद उस समय उतनी आकर्षक नहीं थी जितनी Nupur की DU लाइफ। लेकिन यह वही रास्ता था जिसने उन्हें एक अद्वितीय कौशल सेट दिया और अंततः उन्हें एक सफल अभिनेत्री के रूप में उनके वर्तमान मुकाम तक पहुंचाया। यह इस बात का प्रमाण है कि जीवन में हमारे चुनाव हमें अप्रत्याशित सफलता और संतुष्टि की ओर ले जा सकते हैं, भले ही उस समय हमें इसकी कल्पना न हो।
अक्सर हम एक 'परिपूर्ण' या पारंपरिक रास्ते की तलाश में रहते हैं, लेकिन कई बार हमारी सबसे बड़ी उपलब्धियां उन रास्तों से आती हैं जिन्हें हमने सोचा भी नहीं था। यह मेरे इस विचार को पुष्ट करता है कि हमें पारंपरिक सीमाओं से परे सोचना चाहिए, चाहे वह शिक्षा हो, करियर हो या काम का तरीका हो। हर अनुभव हमें कुछ सिखाता है और हमें एक बेहतर व्यक्ति बनाता है।
Kriti और Nupur की कहानी हमें सिखाती है कि हर किसी का अपना सफर होता है, और हर सफर अपने आप में अनमोल होता है। महत्वपूर्ण यह नहीं है कि आपने कौन सा रास्ता चुना, बल्कि यह है कि आपने उस रास्ते पर क्या सीखा और उससे क्या हासिल किया।
Regards, Hemen Parekh
Of course, if you wish, you can debate this topic with my Virtual Avatar at : hemenparekh.ai
No comments:
Post a Comment